Friday 8 December 2017

किसी को फ़िकर नही मजदूर की
कोई जिक्र नही मजदूर की

वो मजबूर है इसलिए कोई जिक्र नही करता
वो किसी का नुकसान नही करता ईसलिए कोई फिक्र नही करता

कोई तो जगा दे ऊनको जो सबकी फिक्र का ठेका लिए बैठे हैं
हम मजदूर भी इसी जहाँ में रहते हैं


आपका
मनोज उपाध्याय